शिमला, मंडी, कांगड़ा, सोलन, सिरमौर, कुल्लू और बिलासपुर जिलों में लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है. विभाग ने साफ कहा है कि अगले 24 घंटे संवेदनशील इलाकों में भूस्खलन, सडक़ बंद होने और छोटे नालों-खड्डों में अचानक जलस्तर बढ़ने की स्थिति बन सकती है.

शिमला:

उत्तराखंड के साथ ही हिमाचल प्रदेश में भी भारी बारिश से तबाही का कहर जारी है. राजधानी शिमला में सोमवार देर रात हुई भारी बारिश की वजह से जगह-जगह लैंडस्लाइड (Himachal Landslide) की घटनाएं हुईं और पेड़ गिरे है. शिमला शहर के हिमलेंड, बीसीएस , महेली, ऒर अन्य जगहों पर भी भयानक लैंडस्लाइड हुआ है. बड़ी संख्या में पेड़ गिरने की वजह से 2 दर्जन के करीब गाड़िया दब गई हैं, जिनको निकालने का काम किया जा रहा हैं. हालांकि नेशनल हाईवे को खोलने का काम भी जारी हैं. भारी लैंडस्लाइड की वजह से ट्रैफिक ठप हो गया है.

मंडी के सुंदरनगर के तहसील निहरी की ग्राम पंचायत हाड़ा बोई के ब्रागत गांव में बीती रात को हुई भयंकर बारिश से एक कच्चा मकान ढह गया. घर में रह रहे पांच इसक चपेट में आ गए. दो लोग अपनी जान बचाने में कामयाब रहे लेकिन तीन लोगों की मलबे की चपेट में आकर मौत हो गई.

शिमला में लैंडस्लाइड की वजह से रास्ते जाम

रास्ते जाम होने की वजह से मंगवार सुबह स्कूल जाने वाले बच्चों और लोगों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ा रहा है. हिमाचल प्रदेश में मानसून की गति थम नहीं रही है. मंगलवार को भी 6 जिलों में भारी बारिश का येलो अलर्ट जारी किया गया है, इनमें बिलासपुर, कांगड़ा, मंडी, शिमला, सोलन और सिरमौर जिलों में एक-दो स्थानों पर गर्जन के साथ भारी बारिश की संभावना जताई गई है.

6 जिलों में भारी बारिश का येलो अलर्ट

मंगलवार को मौसम विज्ञान केंद्र शिमला ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में भारी बारिश का पूर्वानुमान जारी किया है. विभाग के अनुसार 16 सितंबर को प्रदेश के निचले और मध्यम पर्वतीय क्षेत्रों में कुछ स्थानों पर भारी बारिश होने की संभावना है, जबकि ऊपरी हिमालयी क्षेत्रों में हल्की से मध्यम वर्षा दर्ज हो सकती है. मौसम विभाग ने बताया कि इस दौरान गरज-चमक के साथ बिजली गिरने तथा तेज़ हवाएं चलने की भी आशंका है.

इन जिलों में रहने वाले सावधान!

शिमला, मंडी, कांगड़ा, सोलन, सिरमौर, कुल्लू और बिलासपुर जिलों में लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है. विभाग ने साफ कहा है कि अगले 24 घंटे संवेदनशील इलाकों में भूस्खलन, सडक़ बंद होने और छोटे नालों-खड्डों में अचानक जलस्तर बढने की स्थिति बन सकती है. विभाग के अनुसार दक्षिण-पश्चिम मानसून गंगानगर, नागपुर, जोधपुर और बरमेर में वापसी की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है.

कुल्लू में एडवेंचर गतिविधियां स्थगित

कुल्लू में जिला पर्यटन विकास अधिकारी ने एक आधिकारिक अधिसूचना जारी कर 30 सितंबर तक सभी एडवेंचर गतिविधियों को स्थगित करने का आदेश दिया है. यह फैसला हाल ही में आई बाढ़ के कारण लिया गया है, जिसने व्यास नदी के राफ्टिंग स्टार्ट और फिनिशिंग पॉइंट्स को प्रभावित किया है, वहीं पैराग्लाइडिंग लैंडिंग साइट्स भी क्षतिग्रस्त हो गई हैं.

हिमाचल की तरह उत्तराखंड में भी बारिश की वजह से बुरा हाल है. सोमवार रात देहरादून में बादल फट गया, वहीं सौंग नदी उफान पर है. सड़क का कुछ हिस्सा पानी में बह गया है. दोनों ही पहाड़ी राज्य इन दिनों मौसम की मार झेल रहे हैं.

हिमाचल प्रदेश में 20 जून से आरंभ हुए मानसून सीजन में अब तक भूस्खलन की 140, फ्लैश फ्लड की 97 और बादल फटने की 46 घटनाएं सामने आ चुकी हैं. राज्य में 409 लोगों की मौत हुई है. 473 घायल और 41 लोग लापता चल रहे हैं. राज्य को 4500 करोड़ से अधिक का नुकसान अब तक हो चुका है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *